हरिद्वार,जिला प्रशासन हरिद्वार द्वारा राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के सौजन्य से आयोजित ”राष्ट्रीय सरस मेले” का उद्घाटन राज्य के गन्ना एवं ग्राम्य विकास मंत्री स्वामी यतीश्वरानंद ने किया। मेला दस दिन तक चलेगा। मेले में उत्तराखंड के सभी जनपदों के साथ अन्य प्रान्तों के स्वयं सहायता समूहों ने भी स्टाल लगाए हैं। मेले का उद्देश्य स्वयं सहायता समूह को मजबूत बनाकर ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के अवसर पैदा करना हैं।
कार्यक्रम में ग्राम्य विकास मंत्री यतीश्वरानन्द ने कहा कि राष्ट्रीय सरस मेले का मुख्य उद्देश्य माताओं, बहनों और स्वयं सहायता समूहों को मजबूत करना है। उन्होंने कहा कि स्वयं सहायता समूहों आदि का ज्यादा से ज्यादा व्यापार कैसे बढ़े? इन्हें गांव के अन्दर ही रोजगार कैसे मिले और रोजगार के लिये इन्हें दूर न जाना पड़े। इसके लिये हमारी सरकार, इन्हें स्वावलम्बी बनाने का प्रयास कर रही है।
उन्होंने कहा कि हम निरन्तर प्रयत्नशील है कि गांवों में निवेश व पूंजी का प्रवाह बढ़े ताकि स्वयं सहायता समूह आत्म निर्भर तथा मजबूत बनें। हमारी सरकार ने स्वयं सहायता समूहों को 118 करोड़ रुपये की धनराशि देने का काम किया है। उन्होंने कहा कि जो स्वयं सहायता समूह अपने कारोबार को बढ़ाने के लिये एक लाख से लेकर पांच लाख तक का ऋण लेना चाहते हैं, उन्हें हमारी सरकार ब्याज मुक्त ऋण मुहैया करा रही है। आज पूरे प्रदेश में पौने तीन लाख महिलाएं ग्राम कलस्टरों से जुड़ी हुई हैं। उन्होंने कहा कि आज आवश्यकता इस बात की है कि इनके उत्पाद की बिक्री बढ़ाने के लिये इनके उत्पाद को कम्पनी से जोड़ा जाय ताकि इन स्वयं सहायता समूहों को अधिक से अधिक रोजगार मिल सके।
ग्राम्य विकास मंत्री यतीश्वरानन्द ने राष्ट्रीय सरस मेले में भूमि स्वयं सहायता समूह नैनीताल, उप्र राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन,गोरखपुर, राजेश स्वयं सहायता समूह, देहरादून, महाराष्ट्र राज्य जीवन्नोति अभियान, गौरा देवी स्वयं सहायता अल्मोड़ा, एकता स्वयं सहायता समूह, हरिद्वार, जय दुर्गा स्वयं सहायता समूह, राष्ट्रीय ग्रामीण आजिविका मिशन, उत्तरकाशी आदि स्टालों का निरीक्षण किया तथा उनके द्वारा बनाये गये उत्पादों की प्रशंसा की। मंच का संचालन प्रकाश जोशी एवं विनोद कुमार ने किया।
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